•   Tuesday, 26 Nov, 2024
Agra five minutes of azaan noise pollution at three oclock aarti who gave the power to the dumb afte

आगरा पांच मिनट अजान नॉइस पॉल्यूशन तीन बजे बजे आरती पर क्या गूंगे को जवान किसने दी आखिर यह जवान किसने दी

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  Varanasi ki aawaz

आगरा पांच मिनट अजान नॉइस पॉल्यूशन तीन बजे बजे आरती पर क्या गूंगे को जवान किसने दी आखिर यह जवान किसने दी

 
आगरा। वाराणसी की आवाज। अजान क्या है दरअसल जो मुअजन होता है वह पांच वक्त की नमाज होती है नमाज का वक्त शुरू होने से पहले वह बताता है की नमाज का समय हो गया है निर्धारित समय पर मुस्लिम भाई मस्जिद में कोई घर पर कोई कारखाने में काम करने वाले लोग अपने स्थान पर नमाज पढ़ते हैं पांच नमाजों का अपना एक वक्त निर्धारित होता है पहले नमाज सुबह फजर का समय 5:00 बजे दूसरी नमाज जोहर दोपहर 1:30 बजे तीसरी नमाज असीर  चौथी नमाज मगरिब का समय 5:30 बजे अंतिम यानी ईशा की नमाज 8:00 बजे होती है जिसके लिए मुअजन अजान देता है इन पांचो नमाजों से लोगों को बहुत दिक्कत है यह पॉलिटिक्स में पहली बार खबर में आई है शायद आपको याद हो की महाराष्ट्र के राज ठाकरे साहब पॉलिटिक्स में अलग-अलग पड़ गए हैं राज ठाकरे ने एमएनएस बनाई थी, जिसे  इलेक्ट्रॉलस सफलता नहीं मिली उन्होंने एक बार तमाशा शुरू किया था मस्जिद के सामने लोग चालीसा पढ़ रहे थे  नवाज़ों पर कैसे बैन लगाया जाए एक जिले में बाकायदा आर्डर निकाला कि इस तरह की कोई चीज नहीं होगी मसजिद के सामने ऐसा कोई प्रदर्शन नहीं होगा चुनाव से पहले कर्नाटक में तो अजान के खिलाफ बहुत शोर मचाया गया अजान के खिलाफ चुनाव से पहले खूब शोर शराबा मचाया गया की अजान से डिस्टरबेंस होता है हरियाणा में तो आप जानते ही हैं जिसे आजकल गुरुग्राम के नाम से जाना जाता है वहां पर भी तमाशा हुआ सड़क पर नमाज नहीं पढ़ी जानी चाहिए जब नमाज का वक्त होता तो लोग वहां पर लोग हनुमान चालीसा का पाठ करने बैठ जाते बहुत सारे वीडियो वायरल हुई एक वीडियो वायरल हुआ कि एक साहब सफर कर रहे थे ऊपर की बर्थ पर नमाज का वक्त हुआ तो शांति से  नमाज पढ़ रहे थे नीचे बैठे दो-तीन युवा हनुमान चालीसा का पाठ करने लगे मैं भी  हिंदुस्तानी हूं मुझे आप बताइए कि कहां लिखा है कि दिन में पांच बार हनुमान चालीसा का पाठ करना है हर धर्म का अपना तरीका है कानून होता है धर्म कंपटीशन के लिए नहीं होता उन्होंने नमाज शुरू की तो हम हनुमान चालीसा का पाठ शुरू करेंगे सत्य बात यह है कि इलेक्शन से पहले यह सारे तमाशे होते हैं नमाज तो आज भी पढ़ी जाती है मुअजन अजान देता है मुस्लिम आज भी अपने समय पर नमाज पढ़ते हैं हनुमान चालीसा तो इलेक्शन के साथ खत्म हो गया अब तो खबर भी नहीं आती दो-चार दिन का जोश था धार्मिक दुव्रीकरण करना था चुनाव में तमाशा करना था सड़क पर ए लोगों ने हनुमान चालीसा पढ़ चुनाव का फायदा उठाया जितना पोलराइजेशन करना था किया इसके बावजूद जब कर्नाटक का चुनाव हम हार गए वहां हिंदू और मुस्लिम ने कांग्रेस को चुना फिर चुनाव के साथ हनुमान चालीसा का जोश खत्म हो गया मुस्लिम तो किसी चुनाव के लिए नमाज नहीं पढ़ते वह तो हमेशा ही नमाज पढ़ते हैं अपने वक्त पर जिसे पांच वक्त की नमाज पढ़नी है तो पांच वक्त पड़ता है जिसे दो वक्त की नमाज पढ़ने में दो वक्त की नमाज पढ़ता है कई मेरे ऐसे मित्र हैं जो जुम्मे की ही नमाज पढ़ते हैं हफ्ते में एक दिन बाकी दिन नहीं पढ़ते यह तो उनके नियम में है कानून में है हमारे हिंदू समाज में भी बहुत सारे लोग हैं जो सुबह उठकर मंदिर पूजा करने जाते हैं सुबह पूजा करने के बाद अपने घर आते हैं उन्हें कोई रोकना नहीं मंगल के दिन हनुमान जी मंदिर के सामने लंबी भीडभाड लगी रहती कोई रोकना तो नहीं किसी को नॉइस पॉल्यूशन की दिक्कत तो नहीं होती आपको याद होगा एक सिंगर है सोनू निगम उनको बहुत दिक्कत थी अजान से लाउडस्पीकर से उनके बयान आए उनके बयान आने के बाद तो और भी लोगों के बयान आए क्योंकि नींद खराब होती है उनकी नींद खुल जाती है उन्हें दिक्कत होती है सब कोई इन लोगों से यह नहीं पूछता कि जब पूरी पूरी रात घर के बगल में कानफोडू आवाज में डीजे बजाते हैं तो क्या उनकी नींद नहीं टूटती डीजे का नियम होता है की 10:00 बजे के बाद डीजे नहीं बजेगा मेरे घर के बगल में बारात घर है ऐसी कोई बारात नहीं है जिसमें शोर शराबा बैंड बाजा डीजे ना हो शाम 8:00 बजे के बाद सारी रात भद्दी गानो का जो तमाशा शुरू होता है वह किसी को कोई दिक्कत नही कावड़ियै जो निकालते हैं सोर और ढोल बजाते हुए डीजे बजाते हुए जिससे सड़क जाम हो जाती है उन पर तो लोग फूल बरसाते हैं यहां तक की सरकारी अफसर हेलीकॉप्टर से उस पर पुष्प वर्षा करते हुए वीडियो वायरल हुई बाकी जो कुछ होता है बताने की जरूरत नहीं है बात कर रहा था सोनू निगम की जो सोनू निगम को बहुत दिक्कत हुई सोनू निगम आजकल दुबई में रह रहे हैं दुबई मुल्क मुस्लिमका मुल्क है लेकिन जहां वह रहते हैं क्या आसपास मस्जिद तो होगी मस्जिद होगी तो अजान भी होगी दुबई तो मुस्लिम मुल्क है हमारे तमाम रिश्तेदार वहां रहते हैं उन्होंने बताया कि उन्हें पूरी आजादी है हम दीपावली मनाते हैं होली मनाते हैं वहां किसी को कोई दिक्कत नहीं होती कोई भी नहीं रोकता आसपास मस्जिद भी ह अजान भी होती है किसी को कोई दिक्कत नहीं मैं सोनू निगम साहब से पूछना चाहता हूं के वह वहां पर बयान दें क्यों नहीं दिक्कत होती है आखिर वह बयान क्यों देंगे क्योंकि वह शानदार  लाइफस्टाइल पैसा मिल रहा है उन्हें कोई दिक्कत नहीं सर हिंदू मुस्लिम करने हिंदुस्तान में ही आते हैं उनके ऊपर भी दुबई का असर पड़ा है अभी हाल में बयान आया की नवरात्र के समय मीट बैन नहीं होना चाहिए यह बात मेरे समझ के परे है यह क्या बात हुई रमजान में सारी दुकानें बंद हो जानी चाहिए अरे रमजान में जो रोज रखेगा उसके सामने खाना थाल सजाकर भी रख दिया जाए तो वह जब तक उसमें से कुछ नहीं छुएगा पानी भी नहीं पिएगा जब तक की उसका रोजे का वक्त नहीं हो जाता इसी तरह नवरात्रि है जो व्रत रखता है वह मीट के पास क्यों जाएगा अपना नियम निभाएगा कोई बंगाली है मैं एक बार बंगाली पंडाल में पहली बार ग्वालियर में था वहां गया तो देखा की नवरात्र में माता के पंडाल में मटन चिकन अंडा रोल बन रहा है महक आ रही है मैंने उनसे पूछा की भाई नवरात्र माता के पंडाल में यह मीत कैसा बंगाली भाई ने बताया  यहां कोई रोक-टोक नहीं है हम लोग सब खाते हैं बंगालियों में ट्रेडिशनल है इतना बड़ा हमारा मुल्क है कहीं खाया जाता है कहीं नहीं खाया जाता है कश्मीरी पंडित जो की शिवरात्रि मानते हैं उसे हिरात कहते हैं हिरात में भी मीट का मामला है वह सब कहते हैं हमारे आसपास के लोग यह आसपास के रहने वाले कुछ लोग मीट का सेवन करते हैं कुछ नहीं करते हैं जबरदस्ती कोई मेरे मुंह में नहीं डाल देगा हिंदू मुस्लिम मीट बेचने वाला यह तो नहीं कहता की आप मत लो या जबरदस्ती ले लो जिसे खाना होता है वह लेता है इसे नहीं खाना होता वह नहीं लेता है नवरात्रि पर स्पेशल चेक किया यह मजेदार बात है स्विग्गी और जोमैटो के अप आए हैं इन पर आप ढूंढेंगे तो यह रात के 12:00 बजे भी मटन आपके घर पहुंचा देंगे उन पर कोई रोक नहीं है अगर गरीब मुस्लिम कोई छोटी सी मीट की दुकान लगाकर बेच रहा है उसे पर पूरा तमाशा किया जाता है यानी कि वह अजान वाला है अजान से कोई दिक्कत नहीं है दिक्कत मुस्लिम इस्लाम से है इस्लामी फोबिया से है इसी तरह इन लोगों को नीचा दिखाया जाए कभी चार लोग किसी गरीब मुसलमान को पड़कर कहेंगे जय श्री राम बोलो मैं उन्हीं लोगों से पूछता हूं कि किसी से जबरन श्री राम बुला लेने से क्या राम खुश होते हैं हम आपके को उदाहरण देते हैं कि पहले एक धारावाहिक रामायण आता था उसे समय सभी हिंदू मुस्लिम उसे देखते थे और कई जगह गांव में एक या दूर घर में टीवी हुआ करते थे जहां सभी हिंदू मुस्लिम एक ही घर में बैठकर रामायण को देखा करते थे और सभी दूसरे को राम-राम करते थे राम-राम एक जोड़ने की बात थी जब सियाराम कहते थे एक धार्मिक बात थी राम सीता का मिला-जुला नमस्कार होता था जब आप जय श्री राम कहते हैं तो लोगों को डर लगता है लोगों को याद आता है की इसी नारे के साथ बाबरी मस्जिद गिराई गई थी जब किसी दंगों का आगाज होता है तो इसी नारी के साथ होता है इसी नारे के साथ आप दंगों में जाते हैं कितने मासूमों की नाहक हत्या हो जाती है यह नारा एक पॉलिटिशियन नारा है आप किसी से राम-राम कहेंगे तो सहज ही आपको राम-राम कहेगा चाहे वह किसी भी धर्म संप्रदाय का व्यक्ति हो यह एक सामाजिक है हम बहुत सारे परिवारों को जानता हूं जहां बच्चे पैदा होते थे जो गाने गाए जाते थे वह नंद गोपाल आते थे रसखान को भी जानता हूं जो मुस्लिम थे जिन्होंने पूरी जिंदगी कृष्ण की भक्ति गाने में गवां दी रहीम को भी जानता हूं जो मुस्लिम थे जिंदगी भर भक्ति के गीत गीते रहे हम किसी  मस्जिद के सामने से गुजरे तो हमारा सर झुक जाया करता था कोई हमारा दोस्त मुस्लिम जब मंदिर के सामने से गुजरा तो हाथ जोड़कर नमस्ते करके वह निकलता कभी-कभी तो मंदिर में प्रसाद भी लेते थे एक दूसरे  के धर्म का सम्मान करते थे नवरात्रि में जुलूस निकालना हनुमान चालीसा पाठ करने पर मेरे किसी भाई दोस्त मुस्लिम ने कभी आपत्ति नहीं जताई ऐसा था हमारा देश हमने देखा किसी गांव में अखंड रामायण का पाठ कई दिन तक चलता था मेरे मुस्लिम दोस्त हमारा सहयोग करते थे जो हमारे ऑफिस में कोई एक मुस्लिम नमाज पढ़ता था तो हम लोग खामोश हो जाया करते थे हम लोग कप्तान पढ़ने जाते अजान की आवाज सुनकर हम खामोश हो जाया करते  यह एक दूसरे की इज्जत की बात थी  जो कि अब देश में नहीं है इसी को खत्म करने का  मामला और तोड़ने का मामला है  इनको 2 मिनट की अजान से दिक्कत हो जाती है उनकी नींद टूट जाती है डीजे की आवाज से उनकी नींद नहीं टूटती रहा सवाल लाउडस्पीकर का जब इस्लाम आया कुरान अवतरित हुआ अजान हुई कोई लाउडस्पीकर नहीं था सही बात है जब रामायण लिखी हनुमान चालीसा लिखा तब भी ब्लड स्पीकर नहीं था दुनिया बनी तब बिना स्पीकर नहीं था नेताजी भाषण देते हैं शादियों में लड़े स्पीकर बसता है यह भी नहीं था यह तो नया अविष्कार है अब सबके पास घड़ी मोबाइल है मैं समझता हूं कि मुअजन को भी अजान देने के लिए लाउडस्पीकर जरूरी नहीं अलार्म लगा कर टाइम सेट करके नमाज पढ़ ले लेकिन एक सवाल जरूरी है आखिर एक धरम विशेष के साथ अन्याय क्यों अभी 25 दिसंबर आएगा क्रिसमस मनाया जाएगा दुनिया भर की सजावट होगी फाइव स्टार होटल सजेंगे टीवी पर प्रोग्राम आएगा दुनिया भर का तमाशा होगा किसी को कोई दिक्कत नहीं आप जाकर आनंद लेंगे मैं तो यह कहता हूं कि लाउडस्पीकर बन्द कर दिया जाए लाउडस्पीकर को बंद कर दीजिए लाउडस्पीकर होना भी नहीं चाहिए किसी के लिए भी नहीं ना अजान के लिए  ना हनुमान चालीसा के लिए  नॉइस पॉल्यूशन की बात करते हैं  लड़के दुनिया भर की  कानफोडू गाड़ी में होरन बजाते हैं गाडियां इतनी तेज रफ्तार से चलती हैं इससे नॉइस पॉल्यूशन नहीं होता  दिल्ली में  आसमान को देखिए  प्रदूषण का क्या हाल है  ऐसा लगता है जैसे धूल के शहर में रह रहे हैं  इससे किसी को कोई भी दिक्कत नहीं है  अभी गुजरात में गरबा हुआ  कई दिनों तक  कानफोड़ू  तमाशा हुआ  क्या किसी को नींद खराब हुई  किसी की नींद टूटी  2 मिनट  की अजान से तमाम सवाल उठने लगे कभी कर्नाटक से कभी राज ठाकरे सवाल उठाते हैं कभी सोनू निगम सवाल उठाते हैं यह सब क्या दर्शाता है कि अभी आपकी नफरत कंट्रोल में नहीं है कभी कोर्ट के माध्यम से कभी सरकार के माध्यम से कुछ कराना चाहते हैं इसी बीच आदित्यनाथ योगी जी का बयान आया कि चौराहे सड़क या सार्वजनिक स्थल पर नमाज पढ़ने या हनुमान चालीसा की अनुमति नहीं दी जाएगी बहुत अच्छा लगा होना भी चाहिए सच्ची बात यह है सरकार को कावड़ियों के लिए भी एक अलग से रास्ता बना देना चाहिए जिससे शहर में प्रदूषण और जाम जैसी स्थिति ना बने जिससे जनहानि ना हो मैं जोड़ना चाहता हूं जो धार्मिक जुलूस निकालते हैं उसकी भी अनुमति नहीं देनी चाहिए सारे लोग अपने धर्म का पालन घर पर ही करें अगर आप हिंदू हैं तो अपने घर में पूजा करें या अपने मंदिर में अगर मन मुस्लिम है तो घर में नमाज पढ़े या मस्जिद में लेकिन  एक के लिए नियम बना देने और दूसरे को खुला छोड़ देना साहब यह तो न्याय या हक की बात तो नहीं है इसीलिए गुजरात हाईकोर्ट ने जो फैसला दिया उन्होंने साफ-साफ कहा की पांच या 10 मिनट की अजान नॉइस पॉल्यूशन करती है तो 3:00 बजे सुबह जो आरती होती है उसके बारे में आपका क्या कहना है मैं उसका स्वागत करता हूं गुजरात हाई कोर्ट को दिल से मुबारकबाद देना चाहता हूं सेल्यूट करता हूं की दो जजों जस्टिस अनिल दाब  माय वॉइस जस्टिस सुनीता अग्रवाल जी को बार-बार सेल्यूट करता हूं दिल से मुबारकबाद देता हूं हिंदुस्तान सबका है हम सवाल उठाते रहेंगे आरती पर‌ और तुम अजान पर तो निश्चित ही यह देश बहुत जल्द पंगु बनकर रह जाएगा आओ हम सब अपने इस देश को समृद्धि भारत बनाएं एक दूसरे के धर्म का सम्मान करें

  तेरी आवाज भी है मेरी आवाज भी है,
मैं उठा जिसको अहिंसा का सबक सिखलाने #

रिपोर्ट- आरिफ खान बाबा, मंडल संवाददाता आगरा
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