•   Monday, 07 Apr, 2025
Former MLA Surendra Narayan Singh became a victim of online forgery the driver turned out to be a de

पूर्व विधायक सुरेंद्र नारायण सिंह हुए ऑनलाइन जालसाजी का शिकार, ड्राइवर ही निकला धोखेबाज, 2 साल में लगा दिया 30 लाख का चूना 

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  Varanasi ki aawaz

पूर्व विधायक सुरेंद्र नारायण सिंह हुए ऑनलाइन जालसाजी का शिकार, ड्राइवर ही निकला धोखेबाज, 2 साल में लगा दिया 30 लाख का चूना 

वाराणसी:-साइबर क्राइम थाने की टीम को शनिवार को बड़ी सफलता हाथ लगी है। साइबर क्राइम थाने की टीम ने रोहनिया विधानसभा से भाजपा के पूर्व विधायक सुरेंद्र नारायण सिंह के ड्राइवर को उनके द्वारा दी गयी तहरीर के आधार पर गिरफ्तार कर लिया। उक्त ड्राइवर ने धोखे से उनके अकाउंट से ऑनलाइन फ्राड करते हुए फ्लिपकार्ट और अमेजॉन जैसे ऑनलाइन शॉपिंग प्लेटफार्म से लगभग 30 लाख रुपये की खरीददारी कर डाली थी। पूर्व विधायक के इस अकाउंट में विधायक मद की सैलरी और अन्य भत्ते आते थे। 

इस सम्बन्ध में साइबर क्राइम थाना वाराणसी जोन के थाना प्रभारी विजय नारायण मिश्रा ने बताया कि 4 मार्च को एक तहरीर रोहनिया के पूर्व विधायक सुरेंद्र नारायण सिंह ने दी की उनका एक अकाउंट एसबीआई विधानसभा शाखा, लखनऊ में है, जिसमें विधायक पद की सैलेरी का पैसा आता है। मेरे इस अकाउंट से किसी व्यक्ति ने 2019 से 2021 तक धोखे से लगभग 30 लाख रुपये का फ्लिपकार्ट और अमेजॉन द्वारा ऑनलाइन खरीद्दरी की गयी है।  इस सम्बन्ध में आईजी के सत्यनारायण के निर्देश पर साइबर क्राइम थाने पर मुकदमा अपराध संख्या 0016/2022धारा- 420 आईपीसी व 66 डी.आईटी एक्ट में विवेचना की जा रही थी। 

इसके बाद लगातार फ्लिपकार्ट और अमेजॉन से पत्राचार कर इस संबंध में जानकारी हासिल की गयी तो विवेक कुमार पुत्र मेवालाल, ग्राम - गौरिया, सिखर, मिर्जापुर, पिन नं. 23306 की संलिप्तता प्रमाणित हुई।  इसपर उसे करसड़ा विद्युत उपकेन्द्र /निर्माणाधीन मेडिकल कालेज के पास से मुखबिर की सूचना पर गिरफ्तार कर लिया गया।  पकड़ा गया अभियुक्त पूर्व विधायक का ड्राइवर है और उन्हें विश्वास में लेकर उक्त कार्य को उसने अंजाम दिया था। 

थाना प्रभारी विजय नारायण मिश्रा ने बताया कि पूछताछ में विवेक ने बताया कि मैं विधायक जी के यहां ड्राईवर का कार्य करता हूं, मुझे 9000 रुपया मासिक तन्ख्वाह कैश के रूप में मिलता था। मै विधायक जी का फार्चुनर UP65CQ8100 चलाता था | विधायक तथा उनका परिवार मुझे अपने परिवार के तरह मानता था। विधायक जी का मोबाइल, ए.टी.एम., दवा आदि सभी मै ही देखता था। विधायक जी मुझे पुत्र के तरह मानते थे । मैने षड़यत्र/योजना के तहत पहले विधायक जी एवं उनके पूरे परिवार का विश्वास जीता फिर विश्वासघात करके लाखों रूपये के सामान की खरीददारी आन लाइन किया । मैने अमेजन एप डाउनलोड करके विधायक के एटीएम /डेबिट कार्ड का नंबर डालकर ओटीपी पाया तथा लागिन कर दिया। ओटीपी विधायक के मोबाइल पर आता था उसको मै देख लिया करता था और पुरी कार्रवाई कर लेता था, जो भी सामान मंगवाता था उसको विधायक जी के एकाउंट से पेमेंट करके अपने घर सामान मंगा लेता था।

फिलहाल उक्त अभियुक्त को सम्बंधित धाराओं में जेल भेजा जा रहा है। उसे पकड़ने में निरीक्षक विजय नारायण मिश्र, सब इंस्पेक्टर सुनील कुमार यादव, हेडकांस्टेबल श्याम लाल गुप्ता, हेडकांस्टेबल आलोक कुमार सिंह, हेडकांस्टेबल प्रभात कुमार द्विवेदी, हेडकांस्टेबल हेमंत कुमार, कांस्टेबल गोपाल चौहान, कांस्टेबल दिलीप कुमार, कांस्टेबल अंकित कुमार प्रजापति एवं कांस्टेबल पृथ्वीराज सिंह ने मुख्य भूमिका निभाई।

रिपोर्ट:-डा सुनील जायसवाल
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