•   Tuesday, 08 Apr, 2025
On the fifth day of Varanasi seven day Shrimad Bhagwat Katha devotees are enchanted by listening to

वाराणसी सात दिवसीय श्रीमद् भागवत कथा के पांचवे दिन श्री कृष्ण बाल लीला का वर्णन सुन श्रद्धालु मंत्र मुग्ध

Generic placeholder image
  Varanasi ki aawaz

वाराणसी सात दिवसीय श्रीमद् भागवत कथा के पांचवे दिन श्री कृष्ण बाल लीला का वर्णन सुन श्रद्धालु मंत्र मुग्ध


वाराणसी:-रोहनिया नगर पंचायत गंगापुर में श्रीमद् भागवत कथा के पांचवें दिन श्रीकृष्ण बाल लीला, कालियामसन मर्दन तथा गोवर्धन पूजा का सुंदर चित्रण किया गया। कथावाचक पार्वती नंदन जी महाराज ने मंगलवार को भगवान श्रीकृष्ण की बाल लीला, माखन चोरी तथा गोवर्धन पूजा की कथा श्रद्धालुओं को सुनाई।

उन्होंने कहा कि भगवान की लीलाएं मानव जीवन के लिए प्रेरणादायक हैं। भगवान कृष्ण ने बचपन में अनेक लीलाएं की। बाल कृष्ण सभी का मन मोह लिया करते थे। नटखट स्वभाव के चलते यशोदा मां के पास उनकी हर रोज शिकायत आती थी। मां उन्हें कहती थी कि प्रतिदिन तुम माखन चुरा के खाया करते हो, तो वह तुरंत मुंह खोलकर मां को दिखा दिया करते थे कि मैंने माखन नहीं खाया। शास्त्री ने कहा कि भगवान कृष्ण अपनी सखाओं और गोप-ग्वालों के साथ गोवर्धन पर्वत पर गए थे। वहां पर गोपिकाएं 56 प्रकार का भोजन रखकर नाच गाने के साथ उत्सव मना रही थीं। कृष्ण के पूछने पर उन्होंने बताया कि आज के ही दिन देवों के स्वामी इंद्र का पूजन होता है। इसे इंद्रोज यज्ञ कहते हैं। इससे प्रसन्न होकर इंद्र व्रज में वर्षा करते हैं, जिससे प्रचुर अन्न पैदा होता है। भगवान कृष्ण ने कहा कि इंद्र में क्या शक्ति है। उनसे अधिक शक्तिशाली तो हमारा गोवर्धन पर्वत है। इसके कारण ही वर्षा होती है, अत: हमें इंद्र से बलवान गोवर्धन की पूजा करनी चाहिए। बहुत विवाद के बाद श्री कृष्ण की यह बात मानी गई और व्रज में गोवर्धन पूजा की तैयारियां शुरू हो गईं।

रिपोर्ट- कमलेश गुप्ता. संवाददाता थाना रोहनिया. वाराणसी
Comment As:

Comment (0)